चैत्र नवरात्रि का शुभारंभ 9 अप्रैल से हो चुका है। चैत्र नवरात्रि में नीम की पूजा करने का विशेष महत्व है। इस दौरान नीम के वृक्ष की पूजा से मां दुर्गा के दो रूप बेहद प्रसन्न होते हैं।
Chaitra Navratri 2024: चैत्र नवरात्रि का शुभारंभ 9 अप्रैल से हो चुका है। चैत्र नवरात्रि में नीम की पूजा करने का विशेष महत्व है। इस दौरान नीम के वृक्ष की पूजा से मां दुर्गा के दो रूप बेहद प्रसन्न होते हैं। नीम एक अत्यंत औषधीय गुणों वाला पेड़ है,यह धार्मिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण माना जाता है। नीम पेड़ हिन्दू धर्म में महत्वपूर्ण स्थान रखता है।
धार्मिक महत्व
माना जाता है कि नीम में देवी दुर्गा का वास होता है। नवरात्रि के दौरान नीम की पूजा करने से देवी दुर्गा प्रसन्न होती हैं और भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण करती हैं। नीम की पत्तियों का उपयोग देवी दुर्गा की पूजा में भी किया जाता है। ज्योतिष शास्त्र में नीम का संबंध शनि और केतु से जोड़ा गया है, इसलिए दोनों ग्रहों की शांति के लिए अपने घर में नीम का पेड़ लगाना शुभ माना जाता है। मान्यता है कि इस पेड़ की लकड़ियों से हवन करने से वास्तु दोष दूर हो जाते हैं।
देवी शीतला और दुर्गा माता का वास होता है
परिवार में सुख-शांति आती है और पितृ दोष से भी मुक्ति मिलती है। इसके अलावा नीम की पत्तियों से घर में धुआं करने से नकारात्मक शक्तियां नष्ट होती है। चैत्र महीने में नीम के पेड़ पर देवी शीतला और दुर्गा माता का वास होता है। ऐसे में यदि आप चैत्र नवरात्र के दौरान नीम से जुड़े कुछ उपाय आजमाते हैं तो इससे आपको जीवन में कई लाभ देखने को मिल सकते हैं।