सनातन धर्म में गुरु को बहुत महत्व दिया जाता है। गुरु को ब्रम्हा, विष्णु , महेश की उपाधि भी मिली है। मान्यता है कि गुरु के द्वारा दिए गए ज्ञान के बाद ही शिष्य के जीवन में ज्ञान का प्रकाश फैलता है।
Guru Purnima 2023 : सनातन धर्म में गुरु को बहुत महत्व दिया जाता है। गुरु को ब्रम्हा, विष्णु , महेश की उपाधि भी मिली है। मान्यता है कि गुरु के द्वारा दिए गए ज्ञान के बाद ही शिष्य के जीवन में ज्ञान का प्रकाश फैलता है। गुरु शिष्य परंपरा में गुरु पूर्णिमा का दिन विशेष होता है। गुरु पूर्णिमा को व्यास पूर्णिमा या वेद व्यास जयंती नाम से भी जानते हैं। पौराणिक कथाओं के अनुसार, महर्षि कृष्णद्वैपायन वेदव्यास जी का जन्म आषाढ़ माह की पूर्णिमा तिथि को हुआ था, इस वजह से इस दिन को व्यास जयंती या व्यास पूर्णिमा के रूप में मनाते हैं।
हिंदू पंचांग के अनुसार, आषाढ़ माह में गुरु पूर्णिमा मनाई जा रही है। इस माह पूर्णिमा की तिथि 2 जुलाई, रात 8 बजकर 21 मिनट पर शुरू हो रही है और इस तिथि का समापन अगले दिन शाम 5 बजकर 8 मिनट पर हो जाएगा। इस चलते गुरु पूर्णिमा इस साल 3 जुलाई, सोमवार के दिन मनाई जाएगी।
गुरु का महत्व
गुरु ब्रह्मा गुरु विष्णु, गुरु देवो महेश्वरा
गुरु साक्षात परब्रह्म, तस्मै श्री गुरुवे नमः।।