होली का त्योहार प्रेम और उत्साह का प्रतीक है। भाईचारे के इस त्योहार को मनाने के लिए लोग एक दूसरे को रंग, अबीर लगा कर गले मिलते है।
Holi 2022 : होली का त्योहार प्रेम और उत्साह का प्रतीक है। भाईचारे के इस त्योहार को मनाने के लिए लोग एक दूसरे को रंग, अबीर लगा कर गले मिलते है। पानी वाले रंगों से लोग एकदूसरे को नहला देते है। इस वर्ष 18 मार्च 2022 को खेलने वाली होली मनाई जाएगी।आजकल बाजार में केमिकल से बने रंगों की बहार है।ये रंग त्वचा और सेहत दोनों के लिए हानिकारक है। इसके विकल्प में प्राकृतिक रंगों से होली खेलना आपके स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छा है।
इन रंगों के उपयोग से आपको त्वचा सम्बंधित समस्याएं नहीं होती और आपकी त्वचा स्वस्थ रहती है। क्योंकि इन प्राकृतिक रंगों को फूल, सब्जियों, फलों आदि के प्रयोग से बनाया जाता है।यह रंग त्वचा के अनुकूल काम करते हैं। इन रंगों को आसानी से साफ किया जाता सकता है। इसमें किसी प्रकार की कोई रासायनिक मिलावट नहीं होती।इन रंगों को आप आसानी से घर बना सकते है।आइये जानते है घर पर प्राकृतिक रंग बनाने का तरीका।
पीला रंग
पीले रंग का गुलाल बनाने के लिए आप हल्दी और बेसन को अच्छे से मिलाएं या फिर आप सूखे गेंदों के फूलों को भी पीस कर पीला रंग बना सकते हैं।
हरा रंग
हरा रंग बनाने के लिए आप ताज़ी मेहंदी की पत्तियों को अच्छे से सुखा लें फिर आप इन पत्तियों को अच्छे से पीस लें। इसके अलावा आप आलू या बेसन के साथ हिना पाउडर को भी मिलाकर कई प्रकार के हरे रंग बना सकते हैं।
नीला रंग
नीला रंग बनाने के लिए आप नीले रंग के गुड़हल के फूलों को अच्छे से पीस कर उसका प्रयोग नीले गुलाल के रूप कर सकते है।