Kanpur Violence : कानपुर की नई सड़क पर तीन जून को हिंसा हुई थी। इस बवाल का दिन तीन जून इसलिए मुकर्रर किया गया था, क्योंकि इस दिन देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शहर में थे। साजिशकर्ताओं ने कबूला कि इस हिंसा के पीछे पूरे देश को एक संदेश देने की मंशा थी। यह खुलासा खुद बवाल के साजिशकर्ता हयात जफर हाशमी ने पुलिस की पूछताछ में किया है।
Kanpur Violence : कानपुर की नई सड़क पर तीन जून को हिंसा हुई थी। इस बवाल का दिन तीन जून इसलिए मुकर्रर किया गया था, क्योंकि इस दिन देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शहर में थे। साजिशकर्ताओं ने कबूला कि इस हिंसा के पीछे पूरे देश को एक संदेश देने की मंशा थी। यह खुलासा खुद बवाल के साजिशकर्ता हयात जफर हाशमी ने पुलिस की पूछताछ में किया है।
पुलिस ने बताया कि हयात जफर व उसके साथी जावेद, सूफियान व राहिल से अलग-अलग पूछताछ की गई है। कुछ बिंदुओं पर चारों के बयान एक ही थे। सभी ने कहा कि जिस तरह से नूपुर शर्मा ने विवादित बयान दिया है, भविष्य में ऐसा कोई न करें, इसलिए सख्ती के साथ विरोध किया गया। उन्होंने कहा कि मकसद बात को देश के शीर्ष तक पहुंचाना था, जो पूरा भी हो गया है। उनका इशारा राष्ट्रपति, पीएम व सीएम की ओर था।
भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा ने 26 मई (गुरुवार) को टीवी पर विवादित बयान दिया था। सूत्रों के मुताबिक हयाज जफर हाशमी से जब पुलिस ने पूछा कि 27 मई को भी जुमा था, तब प्रदर्शन क्यों नहीं किया। इस पर हयात ने कहा कि तीन जून को राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री शहर आने वाले थे। जुमा भी था। इसलिए यही दिन बंदी के नाम पर बवाल के लिए तय किया था। हालांकि पुलिस को पहले भी इस बात की आशंका थी लेकिन अब हयात ने खुद इस पर मुहर लगा दी।
पूरे प्रदेश में प्रदर्शन की थी साजिश
एमएमए जौहर फैंस एसोसिएशन प्रदेश भर में है। तमाम लोग उससे जुड़े हैं और पदाधिकारी हैं। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि इसी तरह का विरोध प्रदर्शन हर शहर में होना था। क्योंकि, जो बयान दिया गया था, वह बर्दाश्त करने लायक नहीं था।