रोटी हमारी थाली की जान है। कहावतों में कहा जाता है कि दो जून की रोटी। जब हम सब भोजन करते है तो दाल ,चावल ,सब्जी के साथ रोटी प्रमुख से रहती है।
Winter Food : रोटी हमारी थाली की जान है। कहावतों में कहा जाता है कि दो जून की रोटी। जब हम सब भोजन करते है तो दाल ,चावल ,सब्जी के साथ रोटी प्रमुख से रहती है। रोटी थाली का प्रमुख हिस्सा।व्यंजनों में कई तरह की रोटियों का जिक्र आता है।विभिन्न् प्रकार के अनाजों से निर्मित रोटी सैकड़ों साल से खाई जा रही है। मक्का या मकई के आटे की रोटी सर्दियों में विशेष रूप से खाई जाती है। मक्के की रोटी का स्वाद लाजवाब तो होता ही है इसके साथ् ही ये शरीर के लिए फायदेमंद है।
स्वाद और पोषण परफेक्ट मक्के की रोटी सेहत को निरोगी रखती है।मक्के में पोषक तत्वों के साथ् महत्वपूर्ण विटामिन और मिनरल प्राप्त होते हैं। ग्लूटेन इन्टॉलरेंस की समस्या में लोग गेहूं का आटा खाने से कतराते हैं। ऐसे में, मकई का आटा एक अच्छा ऑप्शन साबित हो सकता है।
चूंकि, मकई का आटा ग्लूटेन-फ्री होता है। इसलिए, इसे बेझिझक खाया जा सकता है।एनीमिया, महिलाओं और बढ़ते बच्चों में एक आम समस्या है। ऐसे में,मक्के का आटा डाइट में शामिल करने से इसका फायदा मिलता है।