अक्षय तृतीया को बहुत शुभ माना जाता है। हर साल वैशाख मास की शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाते हैं।
Akshaya Tritiya 2025 : अक्षय तृतीया को बहुत शुभ माना जाता है। हर साल वैशाख मास की शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाते हैं। “अक्षय” का अर्थ है “शाश्वत” या “कभी न घटने वाला”, जबकि “तृतीया” चंद्र चक्र के तीसरे दिन को दर्शाता है। चूँकि इस दिन शुरू किया गया कोई भी प्रयास सफल और सफल माना जाता है, इसलिए इसे नई शुरुआत के लिए बहुत भाग्यशाली दिन माना जाता है। यहाँ इसके महत्व के कुछ मुख्य पहलू दिए गए हैं। धन और समृद्धि के देवता भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी अक्षय तृतीया से जुड़े हुए हैं। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना की जाती है।
दिनांक: बुधवार, 30 अप्रैल, 2025
तृतीया तिथि आरंभ: 29 अप्रैल 2025 को शाम 05:31 बजे
तृतीया तिथि समाप्त: 30 अप्रैल, 2025 को दोपहर 02:12 बजे
अक्षय तृतीया पूजा मुहूर्त: सुबह 05:48 बजे से दोपहर 12:06 बजे तक
मान्यता है कि अगर अक्षय तृतीया के दिन सोना चांदी जैसी कीमती वस्तुओं की खरीदारी की जाए तो सालभर घर में तरक्की और समृद्धि बनी रहती है और माता लक्ष्मी की कृपा बरसती है।
अक्षय तृतीया सोना खरीद समय
05:31 PM से 05:48 AM
पूजा और प्रसाद
भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी की पूजा फूल, फल और मिठाई चढ़ाकर करें।
आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए विष्णु सहस्रनाम या लक्ष्मी मंत्र जैसे मंत्रों का जाप करें।
दान और दान
इस दिन जरूरतमंदों को दान देना बहुत पुण्यकारी माना जाता है। जरूरतमंदों को भोजन, कपड़े या पैसे दान करें।
सोना खरीदना
अक्षय तृतीया पर सोना या कीमती धातु खरीदना एक लोकप्रिय परंपरा है , क्योंकि यह धन और समृद्धि का प्रतीक है।
उपवास
कई लोग इस दिन ईश्वरीय आशीर्वाद पाने तथा अपने मन और शरीर को शुद्ध करने के लिए उपवास रखते हैं।