लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) में सियासी घमासान जारी है। इसके बीच शुक्रवार को चिराग पासवान समेत पांच सदस्यों का डेलीगेशन चुनाव आयोग से मिला है। इसके बाद उन्होंने कहा कि हमने पार्टी में जारी घटनाक्रम को लेकर चुनाव आयोग को जानकारी दी है। चुनाव आयोग को बताया है कि पार्टी का अध्यक्ष मैं हूं और पार्टी के संविधान के मुताबिक मेरा 5 साल के लिए चयन हुआ था।
नई दिल्ली। लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) में सियासी घमासान जारी है। इसके बीच शुक्रवार को चिराग पासवान समेत पांच सदस्यों का डेलीगेशन चुनाव आयोग से मिला है। इसके बाद उन्होंने कहा कि हमने पार्टी में जारी घटनाक्रम को लेकर चुनाव आयोग को जानकारी दी है। चुनाव आयोग को बताया है कि पार्टी का अध्यक्ष मैं हूं और पार्टी के संविधान के मुताबिक मेरा 5 साल के लिए चयन हुआ था।
उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग से मिलने की वजह यह थी, क्योंकि पशुपति पारस का गुट LJP और उसके सिंबल पर अपना दावा कर सकता है। चिराग पासवान ने कहा कि पशुपति पारस बता रहे हैं कि मैं अब पार्टी का अध्यक्ष नहीं हूं बल्कि वह हैं, जबकि ऐसा नहीं है। हम चुनाव आयोग से मिले हैं, ताकि अगर वह भविष्य में पार्टी और उसके सिंबल को वह अपना बताते हैं तब चुनाव आयोग हमारा भी पक्ष सुने। ताकि हम उसे आश्वस्त कर सकें कि सब कुछ पार्टी के संविधान के हिसाब से चल रहा है। अगर चुनाव आयोग भविष्य में किसी तरह के फिजिकल एविडेंस की मांग करता है तो हम वह भी देने को तैयार हैं।
किसने अध्यक्ष चुना? फोटो जारी करें चाचा
उन्होंने कहा कि पशुपति पारस स्वयं को पार्टी का अध्यक्ष बता रहे हैं। अध्यक्ष चुनने के दौरान कार्यकारिणी में कौन-कौन लोग थे, इनका क्या नाम था इसकी लिस्ट फोटो सहित वह जारी करें? बंद कमरे में अध्यक्ष का चुनाव नहीं होता है।
लोकसभा अध्यक्ष ने नहीं दिया मुझे मौका
चिराग पासवान ने कहा कि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने हमारा पक्ष नहीं जाना। उन्होंने कहा कि लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने हमारा पक्ष नहीं सुना और पशुपति पारस को नेता घोषित कर दिया। यह गलत हुआ है। उन्हें हमारा पक्ष भी सुनना चाहिए था। चुनाव आयोग से हम इसलिए भी मिले ताकि ऐसी किसी स्थिति में हमारा पक्ष भी सुना जाए। जल्द ही लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात की जाएगी।