एक व्यक्ति प्राधिकरण के ऑफिस में आया सम्बन्धित अधिकारी से मिला शोरूम के नक्शा पास करने कि बात हुई नक्शा पास हुआ, लेकिन शोरूम की जगह उस जमीन पर खड़ा हो गय कई मंजिला आलीशान दीपा अस्पताल एंड ट्रॉमा सेंटर.
मुरादाबाद:- अगर आपको बिना मानचित्र के मकान, दुकान, हॉस्पिटल, रेस्टोरेंट बनवाना है तो आप सीधे मुरादाबाद विकास प्राधिकरण आये. सम्बन्धित अधिकारी से मिलो मन माफिक जेब गर्म करो और निर्माण शुरू करो. फिर आप दुकान में अस्पताल खोलो या मकान में रेस्टोरेंट किसी को कोई फर्क नहीं पड़ेगा. यह हैं हाल मुरादाबाद विकास प्राधिकरण का जो आये दिन आवैध निर्माणो को ध्वस्त करने की बात करता है. मुरादाबाद विकास प्राधिकरण उन्ही निर्माणो को ध्वस्त करता है जिनसे अधिकारीयों की डील नहीं होती है. जिनसे हो जाती है उनके लिए कोई नियम कायदा कानून मायने नहीं रखते.

मुरादाबाद के विकास प्राधिकरण में भ्रष्टाचार का हाल आप इस बात से लगा सकते है कि एक व्यक्ति प्राधिकरण के ऑफिस में आया सम्बन्धित अधिकारी से मिला शोरूम के नक्शा पास करने कि बात हुई नक्शा पास हुआ, लेकिन शोरूम की जगह उस जमीन पर खड़ा हो गय कई मंजिला आलीशान दीपा अस्पताल एंड ट्रॉमा सेंटर. इसमें हैरान होने की कोई बात नहीं है वो भी दिल्ली मुरादाबाद हाइवे किनारे मांगूपुरा में वह भी प्राधिकरण के ऑफिस के पास मात्र 200 मीटर की दुरी पर और इसी रास्ते से प्राधिकरण के अधिकारी रोज ऑफिस आते जाते है. प्राधिकरण के अभियंता, मेट, क्लर्क, सचिव वीसी सब की आंखे पर पट्टी बंध जाती है.
जब प्राधिकरण के अधिकारी रोज इसके सामने से गुजरते होंगे तो यह बात मन में जरूर सोचते होंगे मुरादाबाद विकास प्राधिकरण के अधिकारी है तब तक सब कुछ मुमकिन है. बड़े सोचने की बात है की इस अस्पताल में फायर एग्जिट तक नहीं, वहां मरीज की जान कैसे सुरक्षित कैसे दूसरे विभाग से एनोसी मिले बिना एक अस्पताल बनने दिया गया. प्राधिकरण में नियम सिर्फ कागज फाइलो में दबे होते है. जमीनी हकीकत कुछ और होती है. यह प्राधिकरण का पुराना खेल है किसी की बात से प्राधिकरण के अधिकारीयों को कोई फर्क नहीं पड़ता है. कुछ दिन बात देखना यह पता चलेगा बन्ना हैं मकान और बन गया एक आलिशान कम्पलेक्स.
सुशील कुमार सिंह
मुरादाबाद