श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के अध्यक्ष (President of Shri Ram Janmabhoomi Teerth Kshetra ) महंत नृत्यगोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) तबियत एक बार फिर खराब होने के बाद रविवार को लखनऊ मेदांता अस्पताल( Medanta Hospital in Lucknow) में भर्ती गया है। जहां पर उनका इलाज जारी है।
लखनऊ। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के अध्यक्ष (President of Shri Ram Janmabhoomi Teerth Kshetra ) महंत नृत्यगोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) तबियत एक बार फिर खराब होने के बाद रविवार को लखनऊ मेदांता अस्पताल( Medanta Hospital in Lucknow) में भर्ती गया है। जहां पर उनका इलाज जारी है।
महंत नृत्य गोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) की किडनी में इन्फेक्शन की समस्या बढ़ गई है। रविवार सुबह अयोध्या से डॉक्टरों की देखरेख में उन्हें लखनऊ रुटीन चेकअप के लिए लाया गया है। दो वर्ष पूर्व कृष्ण जन्मभूमि मथुरा में कृष्ण जन्मोत्सव के दौरान कोरोना संक्रमित होने के बाद से लगातार महंत नृत्यगोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) डॉक्टरों की देखरेख में हैं। मणिरामदास जी की छावनी मंदिर स्थित उनके आवास में एक आईसीयू (ICU)बना हुआ है। बता दें कि महंत नृत्य गोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) लगभग 84 वर्ष के हैं।
ट्रस्ट के महासचिव चम्पत राय (Trust’s Secretary General Champat Rai) ने बताया कि ट्रस्ट के अध्यक्ष पूज्य महंत नृत्यगोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) महाराज लखनऊ को मेदान्ता अस्पताल ( Medanta Hospital in Lucknow) में भर्ती कराया गया है। उन्हें किडनी में इन्फेक्शन की आशंका के कारण भर्ती किया गया है। उन्होंने कहा कि महंत कमलनयन दास (Mahant Kamalnayan Das) से वार्ता हुई, उन्होंने बताया कि कभी कभी महाराज श्री को पेशाब में कष्ट होता है। उसी की जांच के लिए अस्पताल लाए गए हैं। किडनी इन्फेक्शन नहीं है, वे स्वस्थ हैं।
बता दें इससे पहले तीन अक्टूबर 2021 को भी महंत नृत्य गोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) की तबीयत अचानक खराब हो गई थी। तब उन्हें सांस लेने में तकलीफ होने के कारण लखनऊ के मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उनका चेकअप करने मेदांता अस्पताल के निदेशक राकेश कपूर अयोध्या पहुंचे थे। तब स्थिति गंभीर होने के चलते महंत को आईसीयू में रखा गया था।
मणिराम दास (छोटी छावनी) के महंत नृत्यगोपाल दास (Mahant Nritya Gopal Das) का जन्म मथुरा के बरसाना के कहोला गांव में 1938 में हुआ। उन्होंने सिर्फ 12 वर्ष की उम्र में ही संन्यास ले लिया था और मथुरा से अयोध्या आ गए। 1953 में उन्होंने अयोध्या में मणिराम दास छावनी (Mani Ram Das Cantonment in Ayodhya) में राम मनोहर दास (Ram Manohar Das) से दीक्षा ली। वह राम जन्म भूमि न्यास (Ram Janmabhoomi Nyas) के साथ कृष्ण जन्म भूमि न्यास (Krishna Janmabhoomi Nyas) के भी अध्यक्ष हैं।