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69000 शिक्षक भर्ती मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा, अब अनारक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों ने डाली याचिका

यूपी में 69000 शिक्षक भर्ती (69000 Teacher Recruitment Case)  मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) द्वारा पूर्व में जारी की गई सूची रद्द करने के बाद मामला अब सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) पहुंच गया है। अनारक्षित वर्ग के दो चयनित और एक अचयनित अभ्यर्थियों ने फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में याचिका दाखिल की है।

By संतोष सिंह 
Updated Date

नई दिल्ली। यूपी में 69000 शिक्षक भर्ती (69000 Teacher Recruitment Case)  मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) द्वारा पूर्व में जारी की गई सूची रद्द करने के बाद मामला अब सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) पहुंच गया है। अनारक्षित वर्ग के दो चयनित और एक अचयनित अभ्यर्थियों ने फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में याचिका दाखिल की है। इससे पहले आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों ने इस मामले में कैविएट दाखिल कर रखी है।

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बीते दिनों इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) की लखनऊ पीठ ने आरक्षण नियमों का पालन न करने को लेकर प्रदेश सरकार द्वारा जारी की गई चयन सूची रद्द कर दी थी और तीन महीने के भीतर नई सूची जारी करने का आदेश दिया था। इसके बाद से प्रदेश सरकार पर विपक्ष ने आरक्षण विरोधी होने के आरोप लगाए थे। इस पर योगी सरकार (Yogi Government) ने बयान जारी कर कहा था कि सरकार किसी भी अभ्यर्थी के साथ अन्याय नहीं होने देगी।

पहले भी आमने-सामने आ चुके हैं आरक्षित और अनारक्षित वर्ग के अभ्यर्थी

इसके पहले भी आरक्षित और अनारक्षित अभ्यर्थी हाईकोर्ट के आदेश को लेकर आमने सामने आ चुके हैं। 22 अगस्त को आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थी बेसिक शिक्षा निदेशालय (Directorate of Basic Education) पर धरना दे रहे थे कि अनारक्षित अभ्यर्थी भी वहां पहुंच गए। दोनों पक्ष आमने-सामने धरने पर बैठकर नारेबाजी करने लगे। किसी विपरीत परिस्थिति से बचने के लिए पुलिस बीच में दीवार बनकर खड़ी रही। हालांकि, महानिदेशक स्कूल शिक्षा कंचन वर्मा (Director General School Education Kanchan Verma) से वार्ता में आश्वासन के बाद अनारक्षित श्रेणी के अभ्यर्थियों ने धरना समाप्त कर दिया था।

दो सितंबर को करेंगे मुख्यमंत्री आवास का घेराव

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मामले में आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थी लगातार धरने पर बैठे हुए हैं। अभ्यर्थियों की मांग है कि प्रदेश सरकार इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) की लखनऊ खंडपीठ के आदेश का पालन करे। जिसके तहत सरकार को भर्ती की नई चयन सूची जारी करनी है। अभ्यर्थियों का कहना है कि अधिकारियों के ढीले रवैये के कारण अभी तक चयन सूची जारी नहीं की गई। इससे धरनारत आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों में बेसिक शिक्षा विभाग (Basic Education Department) के अधिकारियों के प्रति भारी आक्रोश है। इसी वजह से ओबीसी, एससी अभ्यर्थियों ने दो सितंबर को मुख्यमंत्री आवास घेरने व महाधरने का आह्वान किया है।

आंदोलन का नेतृत्व कर रहे अमरेन्द्र सिंह पटेल, विजय प्रताप, विक्रम यादव, धनंजय गुप्ता व अन्नू पटेल ने बताया कि ओबीसी, एससी समाज के अनेक संगठनो ने भी उनका समर्थन देने का एलान किया है। वहीं ईको गार्डेन में उनका धरना निरंतर जारी है। इसके साथ ही अनारक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों का धरना चल रहा है।

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