राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की ओर से गुरुवार को 'एक व्यक्ति एक पद' का संकल्प याद दिलाए जाने के बाद राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) के सुर बदल गए हैं। गहलोत ने यूटर्न (U-turn) लेते हुए अब माना है कि दोनों पदों पर एक साथ काम करने से न्याय नहीं होगा। हालांकि, उन्होंने यह भी साफ किया कि अध्यक्ष का चुनाव लड़ने के लिए पद छोड़ने की जरूरत नहीं है, लेकिन यदि वह जीतते हैं तो मुख्यमंत्री पद छोड़ देंगे।
केरल। राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की ओर से गुरुवार को ‘एक व्यक्ति एक पद’ का संकल्प याद दिलाए जाने के बाद राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) के सुर बदल गए हैं। गहलोत ने यूटर्न (U-turn) लेते हुए अब माना है कि दोनों पदों पर एक साथ काम करने से न्याय नहीं होगा। हालांकि, उन्होंने यह भी साफ किया कि अध्यक्ष का चुनाव लड़ने के लिए पद छोड़ने की जरूरत नहीं है, लेकिन यदि वह जीतते हैं तो मुख्यमंत्री पद छोड़ देंगे।
राहुल गांधी (Rahul Gandhi से एक बार फिर अध्यक्ष बनने की अपील करने के लिए कोच्चि पहुंचे अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने मीडिया कर्मियों से बाचीत में कहा कि दो पद की कोई समस्या नहीं है। कांग्रेस अध्यक्ष जो बनेगा न्याय तभी कर पाएगा, उसे पूरे मुल्क में काम करना है, दो पद पर काम हो नहीं सकता है, लेकिन इसमें कोई बाधा नहीं है, कोई भी खड़ा हो सकता है। एक व्यक्ति एक पद का फॉर्मूला यहां लागू नहीं होता है। परंतु कांग्रेस अध्यक्ष कोई बनता है तो वह दो पद पर काम नहीं कर सकता है न, उसे पूरे देश का देखना होगा। न्याय करने के लिए एक पद पर रहना ज्यादा उचित है।
राहुल गांधी ने होने वाले कांग्रेस के नए अध्यक्ष को पहले ही नसीहत दे डाली। उन्होंने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष सिर्फ एक संगठनात्मक पद नहीं है, यह एक वैचारिक पद और एक विश्वास प्रणाली है। उन्होंने आगे कहा कि जो कोई भी कांग्रेस अध्यक्ष बनते हैं उन्हें याद रखना चाहिए कि वे एक ऐतिहासिक स्थान ले रहे हैं। एक ऐसा स्थान जो भारत के एक विशेष दृष्टिकोण को परिभाषित करती है। होने वाले कांग्रेस अध्यक्ष को विचारों के एक समूह, एक विश्वास प्रणाली और भारत के एक दृष्टिकोण का प्रतिनिधित्व करना होगा।
तीन विचारों पर चल रही है भारत जोड़ो यात्रा
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने कहा कि यात्रा की सफलता कुछ विचारों पर आधारित है। पहला विचार यह है कि एक भारत अखंड खड़ा है, अपने आप से युद्ध में नहीं है, अपनों से नाराज नहीं है, नफरत से भरा नहीं है। यह(यात्रा) कुछ ऐसा है जिसकी अधिकांश भारतीय लोग सराहना करते हैं और पसंद करते हैं। दो अन्य विचार भी हैं जो यात्रा को आगे बढ़ा रहे हैं। एक है बेरोजगारी का स्तर, जिसका सामना आज भारत कर रहा है। तीसरा मुद्दा कीमतों का है। ये तीन विचार हैं जो यात्रा को आगे बढ़ा रहे हैं और प्रोत्साहित कर रहे हैं। ये विचार आपस में जुड़े हुए हैं