सूर्य पृथ्वी पर जीवन का आधार है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सूर्य देव को ग्रह मण्डल का राजा कहा जाता है। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य को आत्मा का कारक माना गया है।
Astrological Remedies : सूर्य पृथ्वी पर जीवन का आधार है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सूर्य देव को ग्रह मण्डल का राजा कहा जाता है। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य को आत्मा का कारक माना गया है। सूर्य से संबंधित नक्षत्र कृतिका उत्तराषाढ़ा और उत्तराफाल्गुनी हैं।इसका रंग केसरिया माना जाता है। धातु तांबा और रत्न माणिक उपरत्न लाडली है। यह पुरुष ग्रह है। सूर्य गेहूं घी पत्थर दवा और माणिक्य पदार्थों पर अपना असर डालता है।
पित्त रोग का कारण सूर्य ही है। और वनस्पति जगत में लम्बे पेड का कारक सूर्य है। सूर्य भचक्र की पांचवीं राशि सिंह का स्वामी है। ऐसी मान्यता है कि यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में सूर्य कमजोर स्थिति में हो तो उसकी नौकरी, पिता से संबंध, स्वास्थ्य और उसकी प्रतिष्ठा पर नकारात्मक असर पड़ता है। आइये जानते है सूर्य ग्रह प्रबल करने के उपाय।
1.यदि आप अपने जॉब या नौकरी में मुश्किल का सामना कर रहे हैं और नई नौकरी की तलाश में हैं तो रोटी में गुड़ मिलाकर गाय को खिलाएं।
2.सूर्य ग्रह के दुष्प्रभाव से बचने के लिये अपने वजन के बराबर के गेहूं, लाल और पीले मिले हुए रंग के वस्त्र, लाल मिठाई, सोने के रबे, कपिला गाय, गुड और तांबा धातु, श्रद्धा पूर्वक किसी गरीब ब्राह्मण को बुलाकर विधि विधान से संकल्प पूर्वक दान करना चाहिये।
सूर्य गायत्री :- ऊँ आदित्याय विदमहे दिवाकराय धीमहि तन्नो: सूर्य: प्रचोदयात