सवान मास में प्रकृति श्रंगार करती है। चारो तरफ हरियाली छाई रहती है। इस माह में भगवान शिव की पूजा का विशेष महत्व है। शिवलयों में भक्तगण शिवलिंग पर जलाभिषेक करते है।
Hariyali Amavasya 2024 : सवान मास में प्रकृति श्रंगार करती है। चारो तरफ हरियाली छाई रहती है। इस माह में भगवान शिव की पूजा का विशेष महत्व है। शिवलयों में भक्तगण शिवलिंग पर जलाभिषेक करते है। इस माह में हरियाली अमावस्या का विशेष महत्व है। इस दिन स्नान और दान करने से पितृ दोष, कालसर्प दोष और शनि दोष से जातक को मुक्ति मिलती है। इस मौके पर घर और मंदिर में पौधे लगाना शुभ माना जाता है। इस दिन किसान खेती में इस्तेमाल होने वाले उपकरणों की भी पूजा करते हैं और भगवान से अच्छी फसल की कामना करते हैं।
शुभ मुहूर्त
हिंदू पंचांग के अनुसार इस साल सावन माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या 3 अगस्त दिन शनिवार को पड़ रही है। शुभ मुहूर्त की बात करें तो इस तिथि का शुभारंभ दोपहर 3:50 मिनट से होगा वही तिथि का समापन 4 अगस्त रविवार के दिन शाम 4:42 मिनट पर होगा। उदया तिथि के अनुसार इस बार हर हरियाली अमावस्या 4 अगस्त दिन रविवार को होगी।
शुभ संयोग
इस बार हरियाली अमावस्या के दिन रवि पुष्य योग, सिद्धि योग, सर्वार्थ सिद्धि योग और पुष्य नक्षत्र का शुभ संयोग एक साथ बन रहा है। श्रावण अमावस्या पर सिद्धि योग सुबह से लेकर सुबह 10:30 मिनट तक रहेगा।
हरियाली अमावस्या पूजन सामग्री
पूजा के लिए सफेद फूल, बेलपत्र, अगरबत्ती, धूपबत्ती, गेंहू, ज्वार, सिंदूर, चमेली का तेल, सफेद वस्त्र, गंगाजल, दूर्वा, कुशा, कमल, नीलकमल,कच्चा दूध, शंख, महालक्ष्मी यंत्र समेत पूजा की सभी सामग्री एकत्रित कर लें।