मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ऑफ इंडिया (Muslim Personal Law Board of India) की राष्ट्रीय कार्यसमिति की लखनऊ में चल रही दो द्विवसीय बैठक के दूसरे दिन 06 प्रस्ताव पारित किए गए। जिसमें पहला संविधान के अनुच्छेद 341 व वक्फ एक्ट में संशोधन की मांग के लिये देश के सभी सांसदों व विधायकों पत्र लिखने। दूसरा सूफ़ीज़म सुन्नत वल जमात के अकीदतमंदों की दरगाहों,खानकाहों व इबादतगाहों का प्रबंधन गैर अकीदतमंदों से वापस लेने।
लखनऊ । मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ऑफ इंडिया (Muslim Personal Law Board of India) की राष्ट्रीय कार्यसमिति की लखनऊ में चल रही दो द्विवसीय बैठक के दूसरे दिन 06 प्रस्ताव पारित किए गए। जिसमें पहला संविधान के अनुच्छेद 341 व वक्फ एक्ट में संशोधन की मांग के लिये देश के सभी सांसदों व विधायकों पत्र लिखने। दूसरा सूफ़ीज़म सुन्नत वल जमात के अकीदतमंदों की दरगाहों,खानकाहों व इबादतगाहों का प्रबंधन गैर अकीदतमंदों से वापस लेने। तीसरा उत्तर प्रदेश में शिया व सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड में हुए भ्रष्टाचार की सीबीआई जांच की मांग सरकार से करने।
चौथा राष्ट्रीय एकता,सद्भाव,संविधान रक्षा के लिये सम्पर्क,समन्वय,संवाद कार्यक्रम बारह रबीउल अव्वल की पहली तारीख 7 अक्टूबर से देशभर में शुरू करने। पांचवां सूफी संतों के मानवीय पक्ष के साथ स्थापित करेगा शिक्षा केन्द्र,सरकार से सूफी सर्किट स्थापित करने की मांग व छठां वक्फ प्रोटेक्शन कमेटी व लीगल पैनल का गठन करने के प्रस्ताव पारित करने के साथ राष्ट्रीय कार्यसमिति का विस्तार व सदस्यता अभियान प्रारम्भ करने पर विचार किया गया व बोर्ड ने अपनी वेबसाइट MPLBI.COM को भी लांच किया गया।
बैठक के बाद पत्रकारों से वार्ता करते हुए बोर्ड के राष्ट्रीय महासचिव डॉ. मुईन अहमद ने बताया कि राष्ट्रीय कार्यसमिति ने बताया कि मुल्क व मिल्लत को विकास की दिशा में ले जाने के लिये संविधान में मुस्लिम वंचितों को विशेष अवसर उपलब्ध कराने के लिये अनुच्छेद 341 में संशोधन किया जाना व सूफी व सुन्नी विचारधारा के धर्मस्थलों की 1995 के पूर्व की स्थित बहाल करने के लिये वक्फ अधिनियम में संशोधन की मांग के लिये देश भर लोकसभा व राज्यसभा सदस्यों सहित समस्त विधायको व राजनीतिक दलों के अध्यक्ष को पत्र लिखा जाएगा, बैठक में उत्तर प्रदेश के शिया व सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड में व्याप्त भ्रष्टाचार ,वक्फ जायदादों को खुर्द-बुर्द करने की सीबीआई जांच की मांग की गयी। क्योंकि यहां वक्फ सम्पत्तियों को निजी संपत्ति के रूप में बिल्डरों के हवाले कर गरीबो को मिलने वाले अधिकार से वंचित किया जा रहा है।
सुन्नी वक्फ बोर्ड वक्फ एक्ट (Sunni Waqf Board Waqf Act) की लगातार अवहेलना करते हुए गरीबो के अधिकार पर डाका डालकर खुली लूट कर रहा है दूसरी तरफ इबादतगाहों का प्रबंधन अपनी विचारधारा के नियंत्रण में देकर सूफीवादी विचार को खत्म करने का निरन्तर प्रयास कर रहा है सरकार से सीबीआई जांच की मांग के लिये एमपीएलबीआई उचित मंच पर उसकी पैरवी करेगा। उंन्होने बताया कि इस्लामिक माह बारह रबीउल अव्वल की पहली तारीख (07 अक्टूबर 2021) से राष्ट्रीय एकता,सद्भाव,संविधान रक्षा के लिये राष्ट्रव्यापी सम्पर्क,समन्वय,संवाद कार्यक्रम प्रारम्भ करेगा।
बोर्ड अपने स्तर पर सूफी संतों के मानवीय पक्ष व उसके प्रचार के उद्देश्य के साथ बहुउद्देशीय शिक्षा केंद्र स्थापित करेगा,भारत सरकार व राज्य सरकारो से सूफी सर्किट बनाने की मांग करता है क्योंकि दुनियाभर से सूफ़ीज़म में आस्था रखने वाले लाखों धार्मिक पर्यटक भारत आते है उनको सूफी सर्किट बनाकर स्तरीय सुविधा उपलब्ध कराने से देश के पर्यटन उद्योग को मजबूती मिलेगी व बेरोजगारों को रोजगार प्राप्त होगा बताया कि वक्फ जायदादों पर वक्फ बोर्ड की सांठ-गांठ से हो रहे अवैध कब्जों को रोकने के लिये वक्फ प्रोटेक्शन कमेटी व लीगल पैनल का गठन किया जाएगा।
राष्ट्रीय महासचिव डॉ मुईन अहमद ने बताया कि बोर्ड ने आज अपनी वेबसाइटMPLBI.COM को भी लांच कर दिया है। बैठक की अध्यक्षता राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना यूसुफ अज़ीज़ी ने की राष्ट्रीय समिति के मौलाना सूफी साजिद हुसैन अजमेरी, मुफ़्ती शमीम अख्तर,मौलाना मोहम्मद अली कादरी ,मौलाना तनवीर हाशमी,जाहिद रज़ा,सूफी अल्ताफ रज़ा,रियाजुद्दीन बक्खो,मोहम्मद आमिर सिद्दीकी,मोहम्मद शरीफ,इम्तियाज़ हुसैन सहित 22 राज्यो के प्रतिनिधि उपस्थित है,राष्ट्रीय एकता पर आलिमो द्वारा अनेक शोधपत्र प्रस्तुत किये गए। बोर्ड ने आज तीसरे सत्र में एक 5 सदस्यीय कोर कमेटी का गठन किया है जो राष्ट्रीय समिति के विस्तार सहित उसमें शामिल किए जाने वाले नामो पर विचार करेगी।