बच्चों को खास देखभाल की जरुरत होती है खान पान से लेकर हर चीज तक। जरा सी अनदेखी बच्चों को मुश्किल में डाल सकती है।खास पर खाने पीने की चीजों में। क्योंकि बच्चों का पाचन बहुत संवेदनशील होता है। कुछ अनाप शनाप खाने से बच्चों को पेट का इंफेक्शन हो
बच्चों को खास देखभाल की जरुरत होती है खान पान से लेकर हर चीज तक। जरा सी अनदेखी बच्चों को मुश्किल में डाल सकती है।खास पर खाने पीने की चीजों में। क्योंकि बच्चों का पाचन बहुत संवेदनशील होता है। कुछ अनाप शनाप खाने से बच्चों को पेट का इंफेक्शन हो
बच्चों के लिए तेल की मालिश बहुत जरुरी होती है। बच्चे को आराम दिलाने और मांसपेशियों एवं हड्डियों को ताकत देने के लिए मालिश की जाती है।शिशु की मालिश करने से कब्ज और पाचन मार्ग में फंसी गैस बाहर निकलती है। तेल मालिश पाचन को बढ़ावा देती है और कोलिक
प्रेगनेंसी के दौरान मां और गर्भ में पल रहे बच्चों का खास ख्याल रखने की जरुरत होती है। ऐसे ही नवजात शिशु को जन्म लेने के बाद भी बहुत ध्यान रखा जाता है। ताकि नवजात शिशु को किसी तरह का इंफेक्शन न हो और इम्यूनिटी बेहतर हो। नवजात बच्चों के
स्कूलों में बच्चों पीटीएम यानि पैरेंट्स टीचर मीटिंग होती है। जिसमें टिचर्स बच्चों को उनके हाल के बारे में बताते रहते है। पीटीएम को हल्के में नहीं लेना चाहिए। पेरेट्स को हमेशा इस मीटिंग में जाना चाहिए। ताकि उन्हें अपने बच्चों की शैतानी और पढ़ाई के बारे में पता रहे।
ठंड के मौसम में बच्चों को सर्दी जुकाम की समस्या जल्दी होती है। बच्चों की इम्यूनिटी वीक होती है इसलिए बार बार बीमार पड़ते हैं। सर्दी जुकाम की चपेट में आ जाते है। अगर आपके बच्चे को भी बार बार सर्दी, जुकाम, बहती नाक और छींके आने लगती है। बच्चों
अक्सर आपने दादी नानी के मुंह से कहते जरुर सुना होगा कि बहुत अधिक ठंडी है या सर्दी जुकाम है तो बच्चे को नाममात्र ब्रांडी पिला दो ठीक हो जाएगा। कई घरों में इस घरेलू नुस्खे को फॉलो भी किया जाता है। बच्चों को रम या ब्रांडी पिला देते है
औषधि गुणों से भरपूर आंवला का सेवन करने से सेहत को अद्भूद फायदे होते है। इसमें विटामिन सी, एंटीऑक्सीडेंट और फाइबर प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। वहीं शहद में एंटी बेक्टीरियल और एंटी वायरल गुण पाये जाते है। इन दोनो का सेवन करने से मेंटली और फिजिकली हेल्थ अच्छी
दादी नानी बच्चे के जन्म के बाद महिलाओं को जीरा का सेवन करने की सलाह देती है। ऐसा कहा जाता है कि ब्रेस्ट फीडिंग कराने वाली महिलाओं को जीरा का सेवन करने से ब्रेस्ट मिल्क का प्रोडक्शन बढ़ता है। क्योंकि बच्चों को पर्याप्त दूध नहीं मिलेगा तो बच्चों की इम्युनिटी
सर्दियों के मौसम में बच्चों को रोग बीमारियों से बचाने के लिए खानपान का विशेष ध्यान रखने की जरुरत होती है। बच्चों का सही आहार न मिलने से वायरस हो जाता है। बच्चों की इम्युनिटी कमजोर हो जाती है। आज हम आपको कुछ ऐसी चीजों के बारे में बताने जा
Newborn baby care in winter: सर्दी ने दस्तक दे दी है। इस बदलते मौसम में बच्चे हो या फिर बड़े सभी हो अपनी सेहत का खास ख्याल रखने की जरुरतो ही। जिन बच्चों के लिए यह पहला सर्दी का मौसम है उनका खास ख्याल रखने की जरुरत है। नवजात बच्चों
ठंडियां शुरु हो चुकी हैं। ऐसे में बच्चों की सेहत का खास ख्याल रखने की जरुरत होती है। क्योंकि बच्चों की इम्युनिटी वीक होती है। इसलिए बच्चों को जल्दी जल्दी सर्दी जुकाम आदि की दिक्कतें होने लगती हैं। ऐसे में बच्चों की डाइट में ड्राई फ्रूट्स को शामिल करना बेहद
कई बच्चों को आयरन की कमी की समस्या रहती है। इसकी वजह से एनीमिया की दिक्कत हो सकती है। शरीर में खून पर्याप्त मात्रा में होना बहुत आवश्यक होता है। आपकी कुछ गलतियों की वजह से आपके बच्चों में आयरन की कमी हो सकती है। आज हम आपको बताने जा
बच्चों को पिज्जा, बर्गर, चाउमिन, मोमोज और अन्य फास्ट फूड खाना खूब पसंद होता है।वहीं कहीं अगर रोटी दाल खाने को कह दो तो नाक मुंह बनाने लगते है। पैरेन्ट्स होने के नाते आप जानते है जंक फूड्स बच्चों के लिए कितना हानिकारक होता है। बच्चों के शारीरिक और मानसिक
अक्सर आपने देखा होगा कि छोटे छोटे बच्चे मुंह में उंगली डाले रहते है। हालांकि बच्चों का मुंह में उंगली डालकर रहना बेहद आम आदत है। ऐसा करने से बच्चे आसानी से बैक्टीरिया और गंदगी और कीटाणु मुंह में और शरीर में प्रवेश कर जाते है। इसके चलते पेट से