वास्तु शास्त्र में परिवार के सुख और शांति को अत्यधिक महत्व दिया गया है। घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बना रहे इसके लिए दिशाओं की ऊर्जा का सदुपयोग करने की सलाह वास्तु शास्त्र में दी जाती है।
Vastu Tips : वास्तु शास्त्र में परिवार के सुख और शांति को अत्यधिक महत्व दिया गया है। घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बना रहे इसके लिए दिशाओं की ऊर्जा का सदुपयोग करने की सलाह वास्तु शास्त्र में दी जाती है। यही कारण है कि शास्त्रों में इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए कई उपाय भी बताए गए हैं।
देवी-देवताओं की दिशा
वास्तु शास्त्र में कुछ ऐसे अचूक उपाय बताए गए है जिसका प्रयोग करने से जीवन खुशियों से भर जाता है। देवी-देवताओं की दिशा होने के चलते उत्तर दिशा में जूते-चप्पल रखने से मना किया जाता है। कहते हैं इस दिशा में जूते-चप्पल रखना देवी-देवताओं का अपमान होता है। वहीं, इस दिशा में चप्पल रखने पर घर में आर्थिक हानि भी हो सकती है। उत्तर दिशा में कूड़ा-कचरा रखने से परहेज करने के लिए कहा जाता है।
1.कभी भी घर के वायव्य कोण (नॉर्थ-वेस्ट दिशा) में गंदगी न रखें। साथ ही वहां पर अंधेरा भी नहीं होना चाहिए। अन्यथा उस घर में रहने वाली महिलाओं को असाध्य रोग हो सकते हैं।
2.हल्दी से हर दिन घर के मुख्य दरवाजे पर स्वास्तिक बनाने नकारात्मकता दूर होती है। मां लक्ष्मी का घर में प्रवेश होता है। नियमित रूप से सुबह स्नान कर स्वास्तिक बनाने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं। घर से संकटों को दूर कर धन के भंडार भरती हैं।
3.घर के मेन गेट या रूम के गेट के पास शू रैक नहीं रखना चाहिए। ऐसा करने से घर में नेगेटिव एनर्जी आती है और कलह का वातावरण बनता है। यथासंभव घर के मेन गेट को साफ-सुथरा रखें और सजावटी पौधों से सजाएं।