HBE Ads
  1. हिन्दी समाचार
  2. एस्ट्रोलोजी
  3. पंचांग: शुक्रवार, 20 मई 2022

पंचांग: शुक्रवार, 20 मई 2022

यह पृष्ठ 20 मई, 2022 को तिथि, नक्षत्र, अच्छा और बुरा समय आदि दिखाता है।

By प्रीति कुमारी 
Updated Date

पंचांग: शुक्रवार, 20 मई 2022

पढ़ें :- Akshaya Tritiya 2024 : अक्षय तृतीया के दिन कुछ वस्तुओं की खरीदारी रहेगी शुभ , लक्ष्मी जी की केसर हल्दी से करें विशेष पूजा

विक्रम संवत – 2079, राक्षस :
शक संवत – 1944, शुभकृतो
पूर्णिमांता – ज्येष्ठ :
अमंत मास – वैशाख

तिथि
कृष्ण पक्ष पंचमी – 19 मई 08:24 अपराह्न – 20 मई 05:29 अपराह्न
कृष्ण पक्ष षष्ठी – 20 मई 05:29 अपराह्न – 21 मई 02:59 अपराह्न

नक्षत्र
उत्तरा आषाढ़ – 20 मई 03:17 पूर्वाह्न – 21 मई 01:18 पूर्वाह्न
श्रवण – 21 मई 01:18 पूर्वाह्न – 21 मई 11:46 अपराह्न

करण
कौलवा – मई 19 08:24 अपराह्न – 20 मई 06:54 AM
तैतीला – 20 मई 06:54 पूर्वाह्न – 20 मई 05:29 अपराह्न
गरिजा – 20 मई 05:29 अपराह्न – 21 मई 04:11 पूर्वाह्न
वनिजा – 21 मई 04:11 पूर्वाह्न – 21 मई 02:59 अपराह्न

पढ़ें :- Vastu Tips : रसोईघर से परिवार के हर सदस्य को ऊर्जा मिलती है , जानें दुष्प्रभाव दूर करने के नियम

योग
सुभा – 19 मई 02:58 अपराह्न – 20 मई 11:25 पूर्वाह्न
सुक्ला – 20 मई 11:25 पूर्वाह्न – 21 मई 08:11 पूर्वाह्न

वारा
शुक्रवार (शुक्रवार)

सूर्य और चंद्रमा का समय
सूर्योदय – 5:47 AM
सूर्यास्त – 6:59 अपराह्न
चंद्रोदय – 20 मई 11:45 अपराह्न
चंद्रास्त – 21 मई 10:44 AM

अशुभ काल
राहु – 10:44 पूर्वाह्न – 12:23 अपराह्न
यमगंडा – 3:41 अपराह्न – 5:20 अपराह्न
गुलिका – 7:26 पूर्वाह्न – 9:05 पूर्वाह्न
दुर मुहूर्त – 08:26 पूर्वाह्न – 09:18 पूर्वाह्न, 12:49 अपराह्न – 01:42 अपराह्न
वर्ज्यम – 05:03 पूर्वाह्न – 06:33 पूर्वाह्न

शुभ मुहूर्त
अभिजीत मुहूर्त – 11:57 पूर्वाह्न – 12:49 अपराह्न
अमृत ​​काल – 07:26 अपराह्न – 08:54 अपराह्न
ब्रह्म मुहूर्त – 04:11 पूर्वाह्न – 04:59 पूर्वाह्न

पढ़ें :- Uttarakhand Jageshwar Dham : खुदाई के दौरान मिले सैकड़ों साल पुराने अद्भुत शिवलिंग , दर्शन पाने को बेताब हो गए भक्त

आनंददी योग
काल (कालादंडा) तक – 02:48 AM
धुमरा (थुमरा)

सूर्या रसी
वृषभ (वृषभ) में सूर्य

चंद्र रासी
मकर राशि में प्रवेश करने से पहले चंद्रमा 20 मई, 08:45 पूर्वाह्न तक धनु राशि में भ्रमण करता है

चंद्र मास
अमंता – वैशाख :
पूर्णिमांता – ज्येष्ठ :
शक वर्ष (राष्ट्रीय कैलेंडर) – वैशाख 30, 1944
वैदिक ऋतु – वसंत (वसंत)
ड्रिक रितु – ग्रिश्मा (ग्रीष्मकालीन)

चंद्राष्टम
1. कृतिका अंतिम 3 पदम, रोहिणी , मृगशीर्ष प्रथम 2 पदम

पढ़ें :- Jyestha month 2024 : ज्येष्ठ माह में स्नान-दान और तप से सासे पाप धुल जाते हैं,देंखे व्रत-त्यौहार की लिस्ट
Hindi News से जुड़े अन्य अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें फेसबुक, यूट्यूब और ट्विटर पर फॉलो करे...