ग्रह मंडल के न्यायाधीश शनिदेव के दुष्प्रभावों से मुक्ति पाने के लिए शनि प्रदोष व्रत, उपवास और पूजा विशेष अवसर है।
Shani Pradosh Vrat 2025 Upay : ग्रह मंडल के न्यायाधीश शनिदेव के दुष्प्रभावों से मुक्ति पाने के लिए शनि प्रदोष व्रत, उपवास और पूजा विशेष अवसर है। शनिवार के दिन पड़ने वली प्रदोष तिथि् पर शनि प्रदोष व्रत का पालन किया जाता है। ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार,शनि ग्रह के दुष्प्रभावों से मुक्ति पाने का यह एक शक्तिशाली उपाय भी है। इस दिन इस दिन भगवान शिव और देवी पार्वती की पूजा करने से शनि दोष दूर होते हैं और जीवन में सुख-शांति आती है। शनि प्रदोष व्रत में शाम को शिवलिंग का जल, गंगाजल, दूध, दही, घी, शहद और चीनी से अभिषेक करना बहुत शुभ फलदायी होता है।
शनि प्रदोष के विशेष उपाय
जलाभिषेक: तांबे के लोटे में जल भरकर उसमें काला तिल और शमी पत्र मिलाएं और शिवलिंग पर अर्पित करें। इसके बाद शिव चालीसा का पाठ करें। यह उपाय शनि दोष कम करने में मदद करता है।
बेलपत्र अर्पण: इस दिन शिवलिंग पर 108 बेलपत्र चढ़ाना अत्यंत शुभ माना गया है।
शिवपुराण पाठ करें या गुरुजनों द्वारा बताए मंत्रों का जप करें।
शनि प्रदोष व्रत के दिन काले तिल और सरसों के तेल का दान करना बेहद शुभ माना जाता है।
प्रभावशाली मंत्र
“ऊँ प्रां प्रीं प्रौं सः शनये नमः”
“ऊँ शन्नो देवीरभिष्टडआपो भवन्तुपीतये।”
“ऊँ शं शनैश्चाराय नमः”