यूपी की योगी सरकार लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर पूरी तरह सक्रिय नजर आ रही है। कहीं से कोई चूक न रह जाए। अपने स्तर से हर संभव प्रयास कर रही है। यूपी की ब्यूरोक्रेसी की कार्यशैली जांचने के लिए अपने शासन ने अपने स्तर से रिपोर्ट तैयारी करवाई है।यूपी की ब्यूरोक्रेसी में अधिकतर जिलाधिकारी फिसड्डी साबित हुए हैं।
लखनऊ। यूपी की योगी सरकार (Yogi Government) लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Elections 2024) को लेकर पूरी तरह सक्रिय नजर आ रही है। कहीं से कोई चूक न रह जाए। अपने स्तर से हर संभव प्रयास कर रही है। यूपी ब्यूरोक्रेसी (UP Bureaucracy) की कार्यशैली जांचने के लिए अपने शासन ने अपने स्तर से रिपोर्ट तैयारी करवाई है। यूपी ब्यूरोक्रेसी (UP Bureaucracy) में अधिकतर जिलाधिकारी फिसड्डी साबित हुए हैं। हालांकि कुछ जिलों की रिपोर्ट बेहतर है। ऐसे में माना जा रहा है कि आने वाले समय में उत्तर प्रदेश की ब्यूरोक्रेसी (UP Bureaucracy) में आमूलचूल बदलाव होंगे। लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections) से पहले अधिकांश जिलों में नए जिला अधिकारी होंगे।
हाल ही में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) के निर्देश पर शासन स्तर की जांच में यूपी के 75 में से 63 जिलों के जिलाधिकारियों का काम संतुष्टिपरक नहीं पाया गया है। शासन के सूत्रों का कहना है कि केवल 12 जिलों के ही जिलाधिकारी शासन की मंशा के अनुरूप काम कर रहे हैं। सबसे बुरा हाल सबसे प्राथमिकता वाले जिले का है। वहीं, अयोध्या के जिला अधिकारी की रिपोर्ट फिसड्डी बताई गई है।
शासन के सूत्र बताते हैं कि यूपी की राजधानी लखनऊ के जिलाधिकारी भी आखिरी के 15 की सूची में हैं। विभागीय समीक्षा में सहकारिता विभाग अव्वल रहा है, जबकि अधिकांश विभागों का काम खराब बताया जा रहा है। शासकीय सूत्रों के मुताबिक बलरामपुर समेत 12 जिलों के डीएम का काम उम्दा पाया गया है, जबकि 63 का काम खराब है। विभागीय रैंकिंग में सहकारिता विभाग (Cooperative Department) पहले पायदान पर है। अयोध्या के डीएम सबसे फिसड्डी और लखनऊ के डीएम 52वी रैंक पर हैं।
सूत्र बताते हैं कि विभागीय रैंकिंग में सहकारिता विभाग, नगर विकास विभाग, नगरीय रोजगार एवं गरीबी उन्मूलन, सिंचाई जल संसाधन कृषि विभाग और ग्राम विकास विभाग टॉप फाइव में दर्ज किए गए हैं। फर्रुखाबाद, रामपुर, अयोध्या, ललितपुर, आगरा, मुरादाबाद, कुशीनगर, कन्नौज, जालौन, गोरखपुर, फतेहपुर, मऊ, वाराणसी और कानपुर के डीएम फिसड्डी की सूची में दर्ज किए गए हैं।
जल्द ही आएगा बड़ा फैसला
लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections) को देखते हुए उत्तर प्रदेश की ब्यूरोक्रेसी में बहुत जल्दी बड़े बदलाव होंगे। सूत्र बताते हैं कि सरकार की प्रियोरिटी पर खास कहे जाने वाले अयोध्या जिले के एसडीएम की रिपोर्ट खराब है। ऐसे ही लखनऊ और कुछ अन्य महत्वपूर्ण जिलों में भी जिलाधिकारी का काम संतुष्टिपरक नहीं है। इसलिए लोकसभा चुनाव को देखते हुए अगले डेढ़ महीने में ब्यूरोक्रेसी में बहुत बड़े बदलाव हो सकते हैं। 70 के करीब आईएएस अधिकारी इधर से उधर किए जाएंगे। ऐसे में सूची बननी शुरू हो गई है। ब्यूरोक्रेसी की इस बड़ी हरकत पर अफसरशाही की खास नजर है।