हमारा शरीर जितना गर्मी में फुर्तीला रहता है उतना ठंडी में नहीं रहता है। अक्सर सुबह उठते टाइम शरीर में अकड़न रहती है। यह उन लोगों को भी हो सकती है जिन्हें गठिया या आर्थराइटिस नहीं है। अव्यवस्थित जीवनशैली कारण भी लोग जोड़ों का दर्द महसूस कर सकते हैं। इसके पीछे कई तरह के कारण हो सकते हैं, जैसे तापमान और हवा का दबाव कम होने से मांसपेशियों में खिंचाव महसूस हो चटपटे व्यंजनों के कारण वजन बढ़ने का सकता है।
हमारा शरीर जितना गर्मी में फुर्तीला रहता है उतना ठंडी में नहीं रहता है। अक्सर सुबह उठते टाइम शरीर में अकड़न रहती है। यह उन लोगों को भी हो सकती है जिन्हें गठिया या आर्थराइटिस नहीं है। अव्यवस्थित जीवनशैली कारण भी लोग जोड़ों का दर्द महसूस कर सकते हैं। इसके पीछे कई तरह के कारण हो सकते हैं, जैसे तापमान और हवा का दबाव कम होने से मांसपेशियों में खिंचाव महसूस हो चटपटे व्यंजनों के कारण वजन बढ़ने का सकता है।
जोड़ों का तरल पदार्थ
सर्दी में लोग शारीरिक गतिविधि कम कर देते हैं। इससे रक्त संचार बाधित या कम हो जाता है।
वजन का बढ़ना
सर्दी के मौसम में लोग खानपान के प्रति थोड़े लापरवाह हो जाते हैं। अधिक तेल-घी व चटपटे व्यंजनों के कारण वजन बढ़ने का जोखिम रहता है।
विटामिन-डी की कमी
आमतौर पर भारतीयों में विटामिन-डी की कमी होती है। सर्दी में धूप की कमी इसे और बढ़ा देती है।
प्रदूषण भी है कारक
दर्द में वृद्धि करने वाला एक कारक प्रदूषण भी है। जिन्हें आर्थराइटिस है, वे तेज दर्द महसूस कर सकते हैं।
धूमपान हो सकता है दर्द का कारण
धूमपान से जोड़ों की रक्षा करने वाले ऊतकों पर दबाव पड़ने की आशंका होती है। दर्द के बचाव के लिए धूम्रपान का सेवन बिलकुल न करें।
ऐसी रखें दिनचर्या