नवरात्रि आज से शुरु हो गए हैं। आज से नौ दिनों तक मां दुर्गा के नौ रुपों की पूजा की जाती है। व्रत आदि रखा जाता है। जिसमें सिर्फ फलाहार का सेवन किया जाता है। अधिकतर घरों में कट्टू के आटे की पूड़ियां पकौड़ी हलवा अन्य पकवान खाए जाते हैं।
Side effects of consuming buckwheat: नवरात्रि आज से शुरु हो गए हैं। आज से नौ दिनों तक मां दुर्गा के नौ रुपों की पूजा की जाती है। व्रत आदि रखा जाता है। जिसमें सिर्फ फलाहार का सेवन किया जाता है। अधिकतर घरों में कट्टू के आटे की पूड़ियां पकौड़ी हलवा अन्य पकवान खाए जाते हैं। कुट्टू का आटे शरीर के लिए फायदेमंद होता है। इसमें विटामिन बी, आयरन,प्रोटीन, कैल्शियम समेत कई पोषक तत्व पाये जाते है। इसको खाने के बाद कुछ खास बातों का ध्यान रखने की जरुरत होती है।
अगर किसी को कुट्टू का सेवन करने से किसी प्रकार की एलर्जी है तो वह इसका सेवन न करें। वरना सांस लेने में दिक्कत, चक्कर की समस्या, उल्टी की समस्या आदि समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। कभी भी अधिक मात्रा में कुट्टू का सेवन नहीं करना चाहिए। वरना पेट में दर्द, गैस की समस्या या सूजन की समस्या हो सकती है।
ध्यान रखें कि कभी भी डाइट में बासी कुट्टू का आटे या पकवान का इस्तेमाल नहीं चाहिए। वरना इसके कारण कोशिकाओं को नुकसान पहुंच सकता है।
दो या तीन महीने से ज्यादा पुराना कुट्टू नहीं खाना चाहिए वरना फूड प्वाइजनिंग की समस्या हो सकती है।
बता दें की कुट्टू के आटे के अंदर फास्फोरस पाया जाता है। ऐसे में इसका ज्यादा मात्रा में सेवन करना, किडनी को नुकसान पहुंचा सकता है। जिन लोगों को पहले से ही लो शुगर की समस्या है वे कुट्टू के आटे को अपनी डाइट में जोड़ने से पहले एक्सपर्ट की राय जरूर लें।