महाराष्ट्र के मंत्री और बीजेपी नेता चंद्रशेखर बावनकुले ने उद्धव ठाकरे के राज ठाकरे के साथ गठबंधन और उनके बयानों की आलोचना की है। उन्होने कहा कि यह गठबंधन चुनावी हितों से प्रेरित बताया। उन्होंने उद्धव ठाकरे की लीडरशिप पर भी सवाल उठाया और दावा किया कि उन्होंने जनता का भरोसा तोड़ा है और अपने पिता बालासाहेब ठाकरे की विरासत को धोखा दिया है।
मुंबई। महाराष्ट्र के मंत्री और बीजेपी नेता चंद्रशेखर बावनकुले (BJP leader Chandrashekhar Bawankule) ने उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के साथ गठबंधन और उनके बयानों की आलोचना की है। उन्होने कहा कि यह गठबंधन चुनावी हितों से प्रेरित बताया। उन्होंने उद्धव ठाकरे की लीडरशिप पर भी सवाल उठाया और दावा किया कि उन्होंने जनता का भरोसा तोड़ा है और अपने पिता बालासाहेब ठाकरे की विरासत को धोखा दिया है।
चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा कि आज यह गठबंधन अपने राजनीतिक अस्तित्व को बनाए रखने की कोशिश कर रहा है, जबकि मुंबई के लोग विकास की ओर आगे बढ़ रहे हैं। उद्धव ठाकरे राज्य को तोड़ने की कोशिश कर रहे हैं और चुनावी बातों के आधार पर बयान दे रहे हैं। कोई भी उनके घिसे-पिटे भाषणों पर विश्वास नहीं करता। वह अपने ही लोगों को संभाल नहीं पा रहे हैं। उद्धव ठाकरे ने खुद जनता का भरोसा तोड़ा है। उद्धव ठाकरे ने राज ठाकरे के साथ गठबंधन किया। धाराशिव में उद्धव के उम्मीदवार के जीतने के बाद पाकिस्तानी झंडे दिखाए गए। उनसे इसके बारे में पूछिए, मेरे पास ऐसे कामों के कई उदाहरण हैं, जिन्हें बालासाहेब ने कभी मंज़ूरी नहीं दी थी। बावनकुले ने कहा कि पंचायत चुनावों (panchayat elections) में पार्टी की हार के बाद चचेरे भाइयों को एक साथ आना पड़ा और उनके लिए कोई सहानुभूति वोट नहीं हैं। उन्होंने अपनी ज़मीन खो दी है। उद्धव ठाकरे की पार्टी स्थानीय निकाय चुनावों में 228 सीटों से घटकर सिर्फ आठ सीटों पर आ गई है। मुंबई में भी उनकी यही हालत होगी। इसीलिए उन्होंने यह रास्ता अपनाया है। हम उन्हें इस रास्ते पर चलने के लिए बधाई देते हैं। मुंबई के लोग विकास के लिए वोट देंगे। सीएम देवेंद्र फडणवीस ने विकसित मुंबई का संकल्प लिया है और मुंबई को एक अंतरराष्ट्रीय शहर बनाने के लिए एक मॉडल विकसित किया है। हम इस मॉडल को लोगों के सामने पेश करेंगे। हमारे कॉर्पोरेशन का घोषणापत्र हमें चुनाव जिताएगा। हम मुंबई को एक अंतरराष्ट्रीय शहर बनाना चाहते हैं। सिर्फ इसलिए कि दोनों भाई एक साथ आए हैं, उन्हें सहानुभूति वोट नहीं मिलेंगे।