योगी सरकार (Yogi Government) सर्दियों में पराली जलाने के कारण होने वाले प्रदूषण को लेकर सजग है। इसको रोकने के लिए सरकार की ओर से तैयारी की गई है। किसी भी सूरत में पराली जलाने की घटनाओं को रोकने के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चलाया जा रहा है।
लखनऊ : योगी सरकार (Yogi Government) सर्दियों में पराली जलाने के कारण होने वाले प्रदूषण को लेकर सजग है। इसको रोकने के लिए सरकार की ओर से तैयारी की गई है। किसी भी सूरत में पराली जलाने की घटनाओं को रोकने के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चलाया जा रहा है। इसके तहत जागरूकता अभियान के साथ सरकार ने किसानों में नि:शुल्क बायोडीकम्पोजर (Biodecomposer) का वितरण किया है तो वहीं फसल अवशेष प्रबंधन के लिए अवशेष प्रबंधन वाले कृषि यंत्र वितरित किए जा रहे हैं।
17 लाख बायोडीकम्पोजर वितरित करने का लक्ष्य
मुख्य सचिव के समक्ष पराली प्रबंधन को लेकर कृषि विभाग के प्रस्तुतिकरण में बताया गया कि एकल कृषि यंत्रों पर 50 प्रतिशत अनुदान प्रदान किया जा रहा है। अब तक 44,363 एकल कृषि यंत्र वितरित किए जा चुके हैं। 2023-24 में 4439 एकल कृषि यंत्र की स्वीकृति प्रदान की जा चुकी है। वहीं एफपीओ (FPO) सहकारी समिति एवं ग्राम पंचायत मद में अब तक कुल 7621 फार्म वितरित किए जा चुके हैं।
2023-24 में 296 को स्वीकृति प्रदान की जा चुकी है। गत वर्ष 13 लाख 22 हजार 250
बायोडीकम्पोजर (Biodecomposer) वितरित किए गए हैं, जबकि 2023-24 में 17 लाख बायोडीकम्पोजर (Biodecomposer) वितरित करने का लक्ष्य रखा गया है। 2023-24 में अब तक 1 लाख 66 हजार 600 बायोडीकम्पोजर पूर्ति प्रक्रिया में है।
इन विभागों का लिया जा रहा है सहयोग
इसके अलावा जनपद स्तर पर गन्ना, बेसिक शिक्षा, राजस्व, ग्राम्य विकास, पंचायती राज, स्थानीय निकाय, पुलिस एवं परिवहन, कृषि जैसे विभाग के अधिकारियों में समन्वय करके प्रभावी कार्रवाई सुनिश्चित कराई जाएगी। जनपद में या निकटवर्ती जनपद में स्थापित फसल अवशेष आधारित इकाइयों का प्रचार-प्रसार करके उनमें पराली की आपूर्ति कराना सुनिश्चित किया जा रहा है। ग्राम, न्याय पंचायत, विकास खंड, तहसील, जनपद स्तरीय टास्क फोर्स का गठन किया जा रहा है।