राहुल गांधी ने हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट को लेकर सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी किया है। इसके जरिए उन्होंने सरकार पर निशाना साधते हुए सवाल पूछा है। राहुल गांधी ने कहा कि, छोटे खुदरा निवेशकों की संपत्ति की सुरक्षा का जिम्मा संभालने वाले रेगुलेटर सेबी की ईमानदारी को उसके अध्यक्ष के खिलाफ लगे आरोपों ने गंभीर रूप से ठेस पहुंचाई है।
Hindenburg Research Report: हिंडनबर्ग रिसर्च की हालिया रिपोर्ट को लेकर अब सियासत तेज हो गई है। विपक्षी दलों ने केंद्र सरकार को घेरना शुरू कर दिया है। अब कांग्रेस सांसद और नेता विपक्ष राहुल गांधी का बड़ा बयान आया है। उन्होंने कहा कि, यदि निवेशकों की गाढ़ी कमाई डूबती है, तो किसे जवाबदेह ठहराया जाएगा-पीएम मोदी, सेबी अध्यक्ष, या गौतम अडानी?
राहुल गांधी ने हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट को लेकर सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी किया है। इसके जरिए उन्होंने सरकार पर निशाना साधते हुए सवाल पूछा है। राहुल गांधी ने कहा कि, छोटे खुदरा निवेशकों की संपत्ति की सुरक्षा का जिम्मा संभालने वाले रेगुलेटर सेबी की ईमानदारी को उसके अध्यक्ष के खिलाफ लगे आरोपों ने गंभीर रूप से ठेस पहुंचाई है।
The integrity of SEBI, the securities regulator entrusted with safeguarding the wealth of small retail investors, has been gravely compromised by the allegations against its Chairperson.
Honest investors across the country have pressing questions for the government:
– Why… pic.twitter.com/vZlEl8Qb4b
पढ़ें :- अब मेरी बहन प्रियंका आपकी बहन, बेटी और मां की भूमिकाएं निभाएंगी, यह सबसे अच्छी सांसद होंगी : राहुल गांधी
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) August 11, 2024
उन्होंने आगे कहा, देश भर के ईमानदार निवेशक सरकार से सवाल पूछ रहे हैं, सेबी की अध्यक्ष माधबी पुरी बुच ने अभी तक इस्तीफा क्यों नहीं दिया? अगर निवेशक अपनी मेहनत की कमाई खो देते हैं, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार होगा-प्रधानमंत्री मोदी, सेबी अध्यक्ष या गौतम अडानी?, सामने आए नए और बेहद गंभीर आरोपों के मद्देनजर, क्या सुप्रीम कोर्ट इस मामले की फिर से स्वतः संज्ञान लेकर जांच करेगा?
राहुल गांधी ने आगे कहा कि, अब यह बिल्कुल स्पष्ट हो गया है कि प्रधानमंत्री मोदी जेपीसी जांच से इतने डरे हुए क्यों हैं और इससे क्या खुलासा हो सकता है। बता दें कि, हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट को लेकर सियासी सरगर्मी बढ़ी हुई है। विपक्षी दल के नेता इसको लेकर सरकार को घेरने में जुटे हुए हैं।