Piyush Chawla Retirement: भारत के दिग्गज लेग स्पिनर पीयूष चावला ने क्रिकेट के सभी फॉर्मेट से संन्यास ले लिया है। पीयूष लंबे समय से भारतीय टीम में जगह बनाने में असफल रहे थे। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपने संन्यास का ऐलान किया है। पीयूष ने लिखा, 'कृतज्ञता के साथ इस अध्याय को समाप्त करते हुए!! खेल के सभी प्रारूपों से संन्यास लेते हुए, इस खूबसूरत यात्रा में आपके समर्थन के लिए आप सभी का धन्यवाद...'
Piyush Chawla Retirement: भारत के दिग्गज लेग स्पिनर पीयूष चावला ने क्रिकेट के सभी फॉर्मेट से संन्यास ले लिया है। पीयूष लंबे समय से भारतीय टीम में जगह बनाने में असफल रहे थे। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपने संन्यास का ऐलान किया है। पीयूष ने लिखा, ‘कृतज्ञता के साथ इस अध्याय को समाप्त करते हुए!! खेल के सभी प्रारूपों से संन्यास लेते हुए, इस खूबसूरत यात्रा में आपके समर्थन के लिए आप सभी का धन्यवाद…’
साल 2011 वर्ल्ड कप विजेता टीम का हिस्सा रहे 36 वर्षीय पीयूष चावला ने इंस्टाग्राम पोस्ट के माध्यम से अपनी कोच, फैंस, आईपीएल फ्रेंचाइजियों (जिनके लिए उन्होंने खेला) और अन्य लोगों को धन्यवाद दिया। उन्होंने एक भावुक नोट में लिखा, ‘मैदान पर दो दशकों से अधिक समय के बाद, इस खूबसूरत खेल को अलविदा कहने का समय आ गया है। 2007 टी20 विश्व कप और 2011 एकदिवसीय विश्व कप में भारत का प्रतिनिधित्व करने से लेकर उच्चतम स्तर पर इस यात्रा का हिस्सा बनना मेरे लिए एक आशीर्वाद रहा है। ये यादें हमेशा मेरे दिल में बनी रहेंगी, इसमें कोई कमी नहीं होगी। आईपीएल फ्रेंचाइजियों को हृदय से धन्यवाद, जिन्होंने मुझ पर भरोसा जताया – पंजाब किंग्स, कोलकाता नाइट राइडर्स, चेन्नई सुपर किंग्स और मुंबई इंडियंस। इंडियन प्रीमियर लीग मेरे करियर का एक बहुत ही खास अध्याय रहा है, और मैंने इसमें खेलने के हर पल को संजोया है।’
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भारतीय गेंदबाज ने आगे लिखा, ‘मेरे कोचों – श्री के.आर. गौतम और स्वर्गीय श्री पंकज सरस्वत – को मेरा गहरा आभार, जिन्होंने मुझे निखारा और उस क्रिकेटर के रूप में ढाला जो मैं बना। मेरे परिवार को, मेरी अनंत ताकत का स्रोत: आपकी अटूट समर्थन ने मुझे हर उतार-चढ़ाव में संबाला। मेरे स्वर्गीय पिता को विशेष उल्लेख, जिनके मुझ पर विश्वास ने वह रास्ता जलाया जिस पर मैं चला। उनके बिना यह यात्रा संभव नहीं होती। मैं बीसीसीआई, यूपीसीए (उत्तर प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन), और जीसीए (गुजरात क्रिकेट एसोसिएशन) का धन्यवाद देता हूं, जिन्होंने मुझे मंच और अवसर प्रदान किए ताकि मैं एक क्रिकेटर के रूप में विकसित हो सकूं और खुद को व्यक्त कर सकूं। आज मेरे लिए एक बहुत ही भावनात्मक दिन है क्योंकि मैं सभी प्रारूपों से अपनी संन्यास की आधिकारिक घोषणा करता हूं। हालांकि मैं क्रीज से दूर जा रहा हूं, क्रिकेट हमेशा मेरे भीतर जीवित रहेगा। अब मैं एक नई यात्रा की ओर देखता हूं, इस खूबसूरत खेल की आत्मा और सीख को अपने साथ लेकर।’
बता दें कि 2007 टी20 विश्व कप और 2011 वनडे विश्व कप जीत में भारत के लिए खेलते हुए, पीयूष चावला ने पेशेवर क्रिकेट में सभी प्रारूपों में 1000 से अधिक विकेट हासिल किए। चावला ने 2012 में अपने आखिरी मैच तक पांच साल में भारत के लिए 3 टेस्ट, 25 वनडे और 7 टी20 मैच खेले, जिसमें उन्होंने 43 विकेट लिए।