भगवान भोलेनाथ की कृपा पाने के लिए प्रदोष व्रत का पालन किया जाता है। शिव भक्तों के लिए रवि प्रदोष व्रत का बहुत महत्व होता है। रवि प्रदोष प्रदोष व्रतधारी को कठिन नियमों का पालन करना पड़ता है।
Ravi Pradosh vrat 2024 shubh muhurat: भगवान भोलेनाथ की कृपा पाने के लिए प्रदोष व्रत का पालन किया जाता है। शिव भक्तों के लिए रवि प्रदोष व्रत का बहुत महत्व होता है। रवि प्रदोष प्रदोष व्रतधारी को कठिन नियमों का पालन करना पड़ता है। प्रदोष व्रतधारियों को रविवार के दिन बिना नमक के भोजन करना चाहिए। पौराणिक कथओं के अनुसार , जो शिव भक्त सच्चे भक्ति भाव रवि प्रदोष व्रत का पालन करता है उसे जीवन के सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है। वैदिक पंचांग के अनुसार, हर माह शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत (Pradosh Vrat) रखा जाता है
रवि प्रदोष व्रत 2024 का शुभ मुहूर्त
वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि 5 मई 2024 दिन रविवार को शाम 5:41 मिनट से शुरू होगी। रवि प्रदोष व्रत का मुहूर्त अगले दिन 6 में 2024 सोमवार को दोपहर 2:40 तक रहेगा। उदयातिथि को देखते हुए इस बार प्रदोष व्रत 5 मई 2024 के दिन रखा जाएगा।
शिव जी का पूजन मंत्र
श्री महेश्वराय नम:
। ओम तत्पुरुषाय विद्महे महादेवाय धीमहि तन्नो रुद्र: प्रचोदयात ।।
शम्भवाय च मयोभवाय च नमः शंकराय च मयस्कराय च नमः शिवाय च शिवतराय च।।
ईशानः सर्वविध्यानामीश्वरः सर्वभूतानां ब्रम्हाधिपतिमहिर्बम्हणोधपतिर्बम्हा शिवो मे अस्तु सदाशिवोम।।
भगवान शिव की पूजा के विशेष नियम है। भगवान शिव को अर्पित की जाने वाली वस्तुओं का विशेष महत्व है। भगवान शिव पर अक्षत, पान, सुपारी, रोली, मौली, चंदन, लौंग, इलायची, दूध, दही, शहद, घी, धतूरा, बेलपत्र, कमलगट्टा आदि भगवान को अर्पित करें।