IND vs PAK Asia Cup 2025 Final: एशिया कप 2025 में भारत के पाकिस्तान के खिलाफ खेलने का विरोध करती आयी शिवसेना (यूबीटी) ने एक बार फिर भारतीय टीम पर निशाना साधा है। पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय राऊत ने भारतीय टीम की ओर से पीसीबी चीफ और पाकिस्तान के गृहमंत्री मोहसिन नक़वी के हाथों से ट्रॉफी न लेने के फैसले को नौटंकी करार दिया है। उन्होंने कहा कि अगर देश भक्ति खिलाड़ियों के खून में थी तो पाकिस्तान के खिलाफ मैच नहीं खेलना चाहिए था।
IND vs PAK Asia Cup 2025 Final: एशिया कप 2025 में भारत के पाकिस्तान के खिलाफ खेलने का विरोध करती आयी शिवसेना (यूबीटी) ने एक बार फिर भारतीय टीम पर निशाना साधा है। पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय राऊत ने भारतीय टीम की ओर से पीसीबी चीफ और पाकिस्तान के गृहमंत्री मोहसिन नक़वी के हाथों से ट्रॉफी न लेने के फैसले को नौटंकी करार दिया है। उन्होंने कहा कि अगर देश भक्ति खिलाड़ियों के खून में थी तो पाकिस्तान के खिलाफ मैच नहीं खेलना चाहिए था।
दरअसल, शिवसेना (यूबीटी) के वरिष्ठ नेता संजय राऊत ने सोमवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक वीडियो शेयर किया है। यह वीडियो टूर्नामेंट के शुरू होने से पहले सभी टीमों के कप्तानों की साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस की है, जिसमें भारतीय कप्तान सूर्य कुमार यादव, एसीसी चेयरमैन मोहसिन नकवी से हाथ मिलाते नजर आ रहे हैं। इसके संजय राऊत ने लिखा, ‘सीरीज़ की शुरुआत में, 15 दिन पहले, पाकिस्तान के मंत्री मोहसिन नकवी के साथ हाथ भी मिलाया ,फोटो खिंचवाया…अभी ये लोग देश को नौटंकी दिखा रहे है!
इतनी राष्ट्रभक्ति आपके खून में थी तो पाकिस्तान के साथ मैदान में नही उतरना था, ऊपर से नीचे तक ड्रामा ही ड्रामा। भारत की जनता मूर्ख है।’
सीरीज़ की शुरुआत में, 15 दिन पहले, पाकिस्तान के मंत्री मोहसिन नकवी के साथ हाथ भी मिलाया ,फोटो खिंचवाया
अभी ये लोग देश को नौटंकी दिखा रहे है!
इतनी राष्ट्रभक्ती आपके खुन में थी तो पाकिस्तान के साथ मैदान में नही उतरना था,
उपर से नीचे तक ड्रामा ही ड्रामा ।
🇮🇳 की जनता मूर्ख 👎 है pic.twitter.com/6SOBhG7lPP— Sanjay Raut (@rautsanjay61) September 29, 2025
बता दें कि एशिया कप 2025 फाइनल के बाद ट्रॉफी और पदक वितरण को लेकर बवाल बढ़ता जा रहा है। विजेता भारतीय टीम ने पीसीबी चीफ और एसीसी के चेयरमैन मोहसिन नकवी के हाथों से ट्रॉफी लेने से इंकार कर दिया था, लेकिन नकवी ट्रॉफी देने को लेकर जिद पर अड़े रहे। जिसके बाद पुरस्कार वितरण कार्यक्रम बिना ट्रॉफी और पदक दिये समाप्त करना पड़ा। भारतीय टीम ने पहले ही फैसला कर लिया था कि पाकिस्तान के गृहमंत्री और एसीसी अध्यक्ष मोहसिन नक़वी के हाथों ट्रॉफ़ी स्वीकार नहीं करेंगे।