आज की आधुनिक जीवन शैली में सब कुछ डिजिटल होता जा रहा है। ऑनलाइन की दुनिया जितनी सुविधाजनक है उतनी ही इसकी परेशानियां है।
Digital Detox : आज की आधुनिक जीवन शैली में सब कुछ डिजिटल होता जा रहा है। ऑनलाइन की दुनिया जितनी सुविधाजनक है उतनी ही इसकी परेशानियां है। डिजिटल उपकरणों पर निर्भरता मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य प्रभावित करते है। इसी समस्या से बचाव के लिए डिजिटल डिटॉक्स का रास्ता सबसे बेहतर साबित हो रहा है। दिनभर में कुछ देर के लिए प्रौद्योगिकी उपयोग से दूरी बना कर इसके दुष्प्रभावों से बचा जा सकता है।
डिजिटल डिटॉक्स मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार के लिए डिजिटल उपकरणों और मीडिया के उपयोग को जानबूझकर कम करने या समाप्त करने की अवधिहै। डिजिटल डिटॉक्स की प्रैक्टिस से ऑफलाइन दुनिया के साथ जुड़ाव बनाने से इसके नकारात्मक प्रभावों को कम किया जा सकता है। इससे तनाव में कमी, चिंता और खराब नींद की समस्याओं को दूर करने में सहायता मिलेगी।
डिजिटल डिटॉक्सिंग का उद्देश्य अधिक जानबूझकर और संतुलित प्रौद्योगिकी उपयोग को बढ़ावा देना है, जिससे बेहतर ध्यान, गहरे व्यक्तिगत संबंध और जीवन की समग्र गुणवत्ता में सुधार हो सके।
ऐसे करें डिजिटल डिटॉक्सिंग
स्मार्टफोन, टैबलेट, कंप्यूटर और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे उपकरणों से स्क्रीन से कुछ समय के लिए बनाएं दूरी।
प्रकृति में समय बिताना, व्यायाम करना, या शौक पूरे करने जैसी गतिविधयिों से जुड़ाव बनाना।
व्यक्तिगत बातचीत के माध्यम से मित्रों और परिवार के साथ अधिक गहरे और सार्थक संबंध।