सनातन धर्म में परिवार और संतान के कल्याण के लिए महिलाएं व्रत उपवास का पालन करती है। महिलाएं पति की लंबी आयु और संतान सुख का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए वट सावित्री व्रत का पालन किया जाता है।
वट सावित्री व्रत 2025 डेट और शुभ मुहूर्त ( Vat Savitri Vrat 2025 Date and Shubh Muhurat)
दृक पंचांग के अनुसार इस साल वट सावित्री का व्रत 26 मई 2025 को किया जाएगा। 26 मई को अमावस्या तिथि का आरंभ दोपहर में 12:11 मिनट पर होगा और 27 तारीख को सुबह 8:31 मिनट पर अमावस्या तिथि समाप्त हो जाएगी।
पूजनीय वृक्ष
धर्मशास्त्र की माने तो वट वृक्ष में ब्रह्मा विष्णु और महेश तीनों देव का वास होता है। बरगद के तने में भगवान विष्णु का वास होता है तो जड़ में ब्रह्मदेव का वास माना जाता है। शाखोंओ में भगवान शिव का वास होता है। वट की लटकती शाखों को सावित्री स्वरूप मानते हैं। इसलिए पूरा पेड़ पूजनीय होता है।
पूजा थाली
वट सावित्री की पूजा में लगने वाली प्रमुख सामग्रियां इस प्रकार है। इसमें सावित्री-सत्यवान की मूर्ति, कच्चा सूत, बांस का पंखा, लाल कलावा, धूप-अगरबत्ती, मिट्टी का दीपक, घी, बरगद का फल, मौसमी फल जैसे आम ,लीची और अन्य फल, रोली, बताशे, फूल, इत्र, सुपारी, सवा मीटर कपड़ा, नारियल, पान, धुर्वा घास, अक्षत, सिंदूर, सुहाग का समान, नगद रुपए और घर पर बने पकवान जैसे पूड़ियां, मालपुए और मिष्ठान जैसी सामग्रियां व्रत सावित्री पूजा के लिए जरूरी होती।