पीरियड्स में महिलाओं को योनि से कुछ दिनों के लिए ब्लीडिंग या रक्त स्त्राव होता है। यह प्राकृतिक जैविक प्रक्रिया है, दो महिलाओं के शरीर में होने वाले हार्मोनल बदलावों की वजह से होती है। पीरियड्स के दिनों में होने वाला दर्द, ऐंठन, पीरियड फ्लो और कई चीजें है जो महिलाओं की हेल्थ का हाल बयां करती हैं।
पीरियड्स में महिलाओं को योनि से कुछ दिनों के लिए ब्लीडिंग या रक्त स्त्राव होता है। यह प्राकृतिक जैविक प्रक्रिया है, दो महिलाओं के शरीर में होने वाले हार्मोनल बदलावों की वजह से होती है। पीरियड्स के दिनों में होने वाला दर्द, ऐंठन, पीरियड फ्लो और कई चीजें है जो महिलाओं की हेल्थ का हाल बयां करती हैं।
पीरियड्स के दौरान कई महिलाओं को योनि से निकलने वाले ब्लड में अधिक क्लाट्स बनने की समस्या होती है। क्लाट्स एक तरह के टिश्यूज होते हैं, जिनका आकार छोटा होता है। जो पीरियड्स के समय यूट्रस से बाहर आते हैं। आज हम इस लेख के माध्यम से पीरियड्स के दौरान आने वाले ब्लड क्लॉट्स की समस्या से छुटकारा पाने का तरीका बताने जा रहे है।
पीरियड्स के दौरान अधिकतर ब्लड क्लॉट्स शरीर में एस्ट्रोजन का लेवल अधिक होने की वजह से आते हैं। आसान शब्दों में समझें तो शरीर में एस्ट्रोजन की मात्रा बढ़ने पर पीरियड्स के दौरान निकलने वाले ब्लड में अधिक क्लॉट्स आते है। इसके पीछेकई कारण हो सकते है। जिसमें थायराइड, विटामिन बी 12 और खून की कमी,ओवरी की सिस्ट,हार्मोनल इंबैलेंस, पीसीओएस जैसे कारण हो सकते है।
इस समस्या से छुटकारा पाने के लिए डाइट में पुदीने की चाय शामिल करें। पुदीना की चाय का सेवन करने से हार्मोन्स बैलेंस रखने में हेल्प कर सकता है। जिससे शरीर एस्ट्रोजन की मात्रा कम करने में हेल्प करता है।
स्ट्रेस कम लें।बहुत अधिक स्ट्रेस शरीर में हार्मोनल इंबैलेंस का कारण बन सकता है। जिससे एस्ट्रोजन लेवल बढ़ सकता है। इसके अलावा कई ब्यूटी प्रोडक्ट में एंडोक्राइन को डिस्टर्ब करवे वाले कई केमिकल्स होते है, जो शरीर में एस्ट्रोजन की मात्रा को बढा सकते है। ऐसे में कॉस्मेटिक का कम से कम इस्तेमाल करें।