हिंदू धर्म में जीवन की मंगल कामना के लिए व्रत ,उपवास और देवी देवताओं की पूजा करने की परंपरा है। इसी कड़ी में महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए करवा चौथ के कठिन व्रत का पालन करतीं है।
Karwa Chauth 2024 : हिंदू धर्म में जीवन की मंगल कामना के लिए व्रत ,उपवास और देवी देवताओं की पूजा करने की परंपरा है। इसी कड़ी में महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए करवा चौथ के कठिन व्रत का पालन करतीं है। महिलाएं इस व्रत में निर्जला व्रत रखती हैं। करवा चौथ का व्रत हर साल कार्तिक कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को किया जाता है। पौराणिक मान्यता के अनुसार, इस दिन महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए निर्जला व्रत रखती हैं। ये व्रत सूर्योदय से शुरू होकर चंद्रोदय तक रहता है। पौराणिक कथाओं में ज़िक्र है कि करवा चौथ का व्रत सबसे पहले माता पार्वती ने भगवान शिव के लिए किया था। तभी से इस व्रत की परंपरा शुरू हो गई।
इस व्रत में भगवान गणेश और करवा चौथ माता की पूजा की जाती है। व्रत के दिन शुभ मुहूर्त में महिलाएं संपूर्ण विधि विधान से पूजा करती हैं और करवा चौथ की कथा सुनती हैं । रात्रि में चांद निकलने के बाद चांद की पूजा करती हैं। आइये जानते हैं इस साल करवा चौथ का व्रत कब है, पूजा का मुहूर्त क्या रहेगा और चंद्रोदय कब होगा।
करवा चौथ व्रत
इस साल करवा चौथ का व्रत 20 अक्टूबर, रविवार को रखा जाएगा। चतुर्थी तिथि का प्रारंभ 20 अक्टूबर की सुबह 6 बजकर 46 मिनट पर होगा और इसका समापन 21 अक्टूबर की सुबह 4 बजकर 16 मिनट पर होगा। करवा चौथ व्रत 20 अक्टूबर की सुबह 6 बजकर 9 मिनट से लेकर शाम 7 बजकर 44 मिनट तक रखा जाएगा।
करवा चौथ के दिन चंद्रोदय का समय शाम 7 बजकर 44 मिनट का है।
यदि आप घर में करवा चौथ की पूजा कर रही हैं तो उत्तर-पूर्व दिशा में करवा माता का चित्र लगा कर पूजा करें। मान्यता है कि करवा चौथ के दिन भगवान शिव के पूरे परिवार यानी कि शिव जी, माता पार्वती, भगवान गणेश और भगवान कार्तिकेय की पूजा की जानी चाहिए।