चैंपियंस ट्रॉफी के दौरान एनर्जी ड्रिंक पीकर विवादों में आए मोहम्मद शमी (Mohammed Shami) ने अपने आलोचकों को मुंहतोड़ जवाब दिया है। जीत की खुमारी में भी शमी इस्लाम के प्रति अपना फर्ज निभाना नहीं भूले। उनका ये कदम शायद उन कठमुल्लों को नजर नहीं आया होगा, जिन्होंने अपने अधकचरे ज्ञान के चलते रोजा न रखने का आरोप लगाया था।
नई दिल्ली: चैंपियंस ट्रॉफी के दौरान एनर्जी ड्रिंक पीकर विवादों में आए मोहम्मद शमी (Mohammed Shami) ने अपने आलोचकों को मुंहतोड़ जवाब दिया है। जीत की खुमारी में भी शमी इस्लाम के प्रति अपना फर्ज निभाना नहीं भूले। उनका ये कदम शायद उन कठमुल्लों को नजर नहीं आया होगा, जिन्होंने अपने अधकचरे ज्ञान के चलते रोजा न रखने का आरोप लगाया था।
दरअसल, दुबई में रविवार रात न्यूजीलैंड को फाइनल में हराते हुए मेन इन ब्लूज ने इतिहास रचा था। प्लेयर ऑफ द मैच रोहित शर्मा के अर्धशतक के बूते भारत ने 252 रन के लक्ष्य को चार विकेट शेष रहते हासिल कर लिया। मैच जीतने के बाद जश्न का माहौल था और भारतीय खिलाड़ी चैंपियंस ट्रॉफी जीत की खुशी मना रहे थे।
इसी बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी (Mohammed Shami) स्टेज से नीचे उतर गए जबकि बाकी खिलाड़ी शैंपेन की बॉटल खोलकर एक-दूसरे को उससे नहला रहे थे। धमाचौकड़ी मचा रहे थे।
मोहम्मद शमी (Mohammed Shami) ने अपनी धार्मिक मान्यताओं के चलते ऐसा किया। आपको मालूम होगा कि इस्लाम में शराब हराम है। इससे पहले इस्लाम के फर्जी धर्म गुरुओं और मौलाना ने शमी को शरीयत की नजर में गुनहगार बताया था। मौलाना का कहना था कि शमी सेहतमंद होते हुए भी रोजा नहीं रख रहे हैं। हालांकि इसके बाद कई और इस्लामिक धर्मगुरू सामने आए थे और उन्होंने साफ किया था कि सफर के दौरान रोजे की छूट होती है और शमी इस वक्त सफर में ही हैं।
जसप्रीत बुमराह की गैरमौजूदगी में मोहम्मद शमी ने भारतीय तेज गेंदबाजी आक्रमण की अगुवाई की और वरुण चक्रवर्ती के साथ मिलकर नौ विकेट लेकर भारत के लिए संयुक्त रूप से सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज बने। भारत तीसरी बार चैंपियंस ट्रॉफी का चैंपियन बना, इससे पहले साल 2002 में श्रीलंका के साथ ट्रॉफी शेयर की थी, जब फाइनल बारिश की भेंट चढ़ गया था। इसके बाद 2013 में भी भारत ने यह खिताब अपने नाम किया था। 2017 में टीम फाइनल में पहुंचने के बाद पाकिस्तान से हार गई थी।